युगों पहले, पुरातन भारत में धर्म और अधर्म के बीच एक महायुद्ध लड़ा गया था। जिसने तीनों लोकों को कंपा/थर्रा दिया था और सदियों तक चले आ रहे शासन का अंत कर, एक नए युग का आरंभ किया था। उस युद्ध में विजयी पक्ष को भगवान की तरह आज भी पूजा जाता है और उनकी महानता की गाथाएं हरदम सभी के मुख पर होती हैं। यह कहानी है उसकी, जिसने उस महायुद्ध में पराजय का स्वाद चखा था। रावनायण एक ऐसी कॉमिक्स बुक सीरीज़ है जो महर्षि वाल्मीकि द्वारा रचित महाकाव्य को उस महागाथा के खलनायक – लंकाधिपति, त्रिलोक विजेता, और देवों पर विजय प्राप्त करने वाले राक्षसराज रावण के दृष्टिकोण से प्रस्तुत करती है। लेखक विजयेंद्र मोहंती और आर्टिस्ट विवेक गोयल रामायण में निहित मूल्यों की गहराई में उतरकर, सच्चाई की बुराई पर विजय से कहीं बढ़कर इस अमरगाथा के अनछुए पहलुओं को उजागर करते हैं। रावण के जीवन को एक बिल्कुल ही अलग रूप में दर्शाती यह महागाथा इसी प्रयास में पाठकों को सत्य-असत्य, धर्म-अधर्म और सही और गलत के वास्तविक अर्थ की खोज में ले जाती है। रामायण से बिलकुल ही अलग इस कहानी का नायक राम हो ना हो कर रावण है। इस पुस्तक के रचनाकारों का मानना है कि रावण के शासन काल में लंका समृद्ध हुई थी, और उनकी वही सोच उन्हें ले आई इस महागाथा की रचना के करीब, जिसके माध्यम से वे लंका के उस उत्कृष्ट शासक को श्रद्धांजलि समर्पित करते हैं। यह कहानी है राक्षस और साधु वंश का एक उत्कृष्ट समागम, ब्रह्मा के पड़पोते की। यह कहानी है, सीता हरण से पहले रावण के जीवन की… यह कहानी है उसकी जो पराजित हुआ! रावणायण सम्पूर्ण हिन्दी संस्करण में सम्मिलित हैं बेस्ट सेलिंग मूल रावणायण श्रंखला के सभी 6 अंक (कुल 250 पृष्ठ), विवेक गोयल की जादूई पेन्सिल्स से निकले एक बिलकुल ही नए मुखपृष्ठ के साथ।
Format:
Paperback
Pages:
250 pages
Publication:
2020
Publisher:
Holy Cow Entertainment
Edition:
Complete Edition
Language:
hin
ISBN10:
1944980393
ISBN13:
9781944980399
kindle Asin:
1944980393
Ravaɴayaɴ Sampoorɴa Sanskaraɴ | Ravanayan Hindi Collector Edition | रावणायण संपूर्ण संस्करण (१-६)
युगों पहले, पुरातन भारत में धर्म और अधर्म के बीच एक महायुद्ध लड़ा गया था। जिसने तीनों लोकों को कंपा/थर्रा दिया था और सदियों तक चले आ रहे शासन का अंत कर, एक नए युग का आरंभ किया था। उस युद्ध में विजयी पक्ष को भगवान की तरह आज भी पूजा जाता है और उनकी महानता की गाथाएं हरदम सभी के मुख पर होती हैं। यह कहानी है उसकी, जिसने उस महायुद्ध में पराजय का स्वाद चखा था। रावनायण एक ऐसी कॉमिक्स बुक सीरीज़ है जो महर्षि वाल्मीकि द्वारा रचित महाकाव्य को उस महागाथा के खलनायक – लंकाधिपति, त्रिलोक विजेता, और देवों पर विजय प्राप्त करने वाले राक्षसराज रावण के दृष्टिकोण से प्रस्तुत करती है। लेखक विजयेंद्र मोहंती और आर्टिस्ट विवेक गोयल रामायण में निहित मूल्यों की गहराई में उतरकर, सच्चाई की बुराई पर विजय से कहीं बढ़कर इस अमरगाथा के अनछुए पहलुओं को उजागर करते हैं। रावण के जीवन को एक बिल्कुल ही अलग रूप में दर्शाती यह महागाथा इसी प्रयास में पाठकों को सत्य-असत्य, धर्म-अधर्म और सही और गलत के वास्तविक अर्थ की खोज में ले जाती है। रामायण से बिलकुल ही अलग इस कहानी का नायक राम हो ना हो कर रावण है। इस पुस्तक के रचनाकारों का मानना है कि रावण के शासन काल में लंका समृद्ध हुई थी, और उनकी वही सोच उन्हें ले आई इस महागाथा की रचना के करीब, जिसके माध्यम से वे लंका के उस उत्कृष्ट शासक को श्रद्धांजलि समर्पित करते हैं। यह कहानी है राक्षस और साधु वंश का एक उत्कृष्ट समागम, ब्रह्मा के पड़पोते की। यह कहानी है, सीता हरण से पहले रावण के जीवन की… यह कहानी है उसकी जो पराजित हुआ! रावणायण सम्पूर्ण हिन्दी संस्करण में सम्मिलित हैं बेस्ट सेलिंग मूल रावणायण श्रंखला के सभी 6 अंक (कुल 250 पृष्ठ), विवेक गोयल की जादूई पेन्सिल्स से निकले एक बिलकुल ही नए मुखपृष्ठ के साथ।