आरती भंडारी की मां उसके लिये अपनी सारी सम्पत्ति एक ऐसे ट्रस्ट के रूप में छोड़ कर मरी थी जिसका कि उसके इक्कीस साल के होने पर उसके कंट्रोल में आने का प्रावधान था । फिर ज्यों ही ट्रस्ट का संचालन आरती के काबू में आया, उसमें से कुछ निश्चित रकम गायब होने लगी जिसके बारे में उसके पिता का खयाल था कि उसे कोई शैतान ब्लैकमेल कर रहा था ।
आरती भंडारी की मां उसके लिये अपनी सारी सम्पत्ति एक ऐसे ट्रस्ट के रूप में छोड़ कर मरी थी जिसका कि उसके इक्कीस साल के होने पर उसके कंट्रोल में आने का प्रावधान था । फिर ज्यों ही ट्रस्ट का संचालन आरती के काबू में आया, उसमें से कुछ निश्चित रकम गायब होने लगी जिसके बारे में उसके पिता का खयाल था कि उसे कोई शैतान ब्लैकमेल कर रहा था ।